BANKA NEWS: डस्टबिन वितरण हुआ नहीं कचरा अपशिष्ट प्रसंस्करण इकाई केंद्र हो गया जर्जर

रिपोर्ट: उमाकांत साह 
चांदन. प्रखंड क्षेत्र अंतर्गत विभिन्न पंचायतों के वार्ड में स्वच्छ भारत मिशन के आलोक में सरकार द्वारा हर वार्डों में जहां समुचित विकास करने कि दावा कर रही है. वहीं दूसरी ओर संबंधित विभाग कि लापरवाही से जन जीवन पर अब बूरा प्रभाव पड़ने कि बात सामने आने लगी है. मामला शिक्षा से जुड़ा हो या स्वच्छता कि,सरकार कि सिस्टम के आगे सब बेकार है. क्योंकि जमीनी हकीकत कुछ हो या ना हो पर कार्य स्थल का फोटो होना चाहिए। ऐसा ही मामला कुछ चांदन प्रखंड के कुसुमजोरी कि बात प्रकाश में आया है. बताया गया कि महात्मा गारंटी (मनरेगा) योजना के तहत लोहिया स्वच्छ अभियान के आलोक में ग्राम पंचायत को स्वच्छ रखने के उद्देश्य से बनाए लगभग सात लाख रुपए कि लागत से कचरा अपशिष्ट प्रसंस्करण इकाई केंद्र विगत एक साल में ही उस बंजर भूमी के लिए सोभा कि वस्तु बन गई है. जिसे देखने वाला कोई नही है। बताया गया कि वर्तमान ग्राम पंचायत मुखिया ममता देवी के पति ब्रह्मदेव तुरी, एवं पंचायत संचालक पूर्व मुखिया अशोक यादव द्वारा डब्लू पी यू का निर्माण एक सुनसान जगह पर गुणवत्ता विहीन निर्माण कराया गया है. भवन कि गुणवत्ता इस प्रकार है कि उद्घाटन के बाद भवन में लगाये निम्न क्वॉलिटी का चदरा,व खिड़की गायब हो गया. इतना ही ग्रामीणों ने बताया कि पंचायत के हर वार्डो में स्वच्छता ग्राही के द्वारा सफाई करना तो दूर, मुखिया द्वारा आज तक डस्टबीन वितरण नही किया है। और नही तो खबर लिखे जाने तक कचरा अपशिष्ट प्रसंस्करण इकाई केंद्र इस्तेमाल किया गया है।जबकि कचरा अपशिष्ट प्रसंस्करण इकाई केंद्र का मुख्य उद्देश्य है मानव स्वास्थ्य और पर्यावरण पर कचरे नकारात्मक प्रभावों को कम करना। कचरा प्रबंधन में विभिन्न प्रकार के अवशिष्टों का प्रबंध शामिल है जैसे ठोस कचरा तरल अपशिष्ट और खतरनाक अपशिष्ट, जो स्वच्छता ग्राही के द्वारा विभिन्न स्रोतों से कचरा एकत्रित करना है। जिसे इलेक्ट्रॉनिक कचरे को वैज्ञानिक तरीके से पुनर्चक्रण करके जैविक कचरे को खाद मैं बदलने के लिए लैंडफिल में सुरक्षित करता है। इस संदर्भ में चांदन बीडीओ अजेश कुमार नें बताया कि इस संबंध कोई जानकारी नहीं है,जांच कर आगे कि कार्रवाई कि जायेगी।